जमीन (प्रॉपर्टी) की खरीद-बिक्री में लगने वाले 20 हजार रुपये से उपर के स्टांप के रूप में ई-स्टांप का उपयोग होता है। रेवेन्यू विभाग के खाते में पैसे जमा होने के बाद ई-स्टांप पेपर जनरेट होता था।
इसके बाद लोग तहसील कार्यालय में जाकर जमीनों व अन्य प्रॉपर्टी की रजिस्ट्री करवाते थे। अब लोगों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए ई-स्टा¨म्पग की सुविधा सेवा केंद्रों में मात्र 10 रुपये के शुल्क के साथ शुरू हो रही है।
बुधवार को ये सुविधा मलिकपुर स्थित मिन्नी सचिवालय में तहसील कार्यालय के महज दस मीटर की दूरी पर ही सेवा केंद्र पर शुरू कर दी गई।
पठानकोट में 42 सेवा केंद्र हैं जहां ये सुविधा जल्द ही शुरू कर दी जाएगी। सेवा केंद्रों के माध्यम से शुरू हुई ई-स्टा¨म्पग सेवा से लोगों को खजाना कार्यालय व बैंकों में जाए बगैर स्टांप पेपर प्राप्त करने में मदद मिलेगी। अब वे स्टांप मूल्य का विचार किए बिना 10 रुपये के मामूली सेवा शुल्क के भुगतान पर सेवा केंद्र पर ई-स्टांप पेपर जनरेट करा सकते हैं। इससे लोगों के यात्रा पर खर्च होने वाले उनके पैसे व समय की भी बचत होगी। इस प्रणाली से न केवल लोगों को सुविधा होगी बल्कि विभाग को भी अपना राजस्व बढ़ाने में मदद मिलेगी।